BIOS क्या है?

BIOS क्या है?
BIOS (Basic Input/Output System) एक सॉफ्टवेयर है जो कंप्यूटर के मदरबोर्ड के साथ जुड़ा होता है और कंप्यूटर को चालू करते ही अपने आप शुरू हो जाता है। यह कंप्यूटर के हार्डवेयर कंपोनेंट्स को ऑपरेटिंग सिस्टम के साथ इंटरफेस करने का कार्य करता है। BIOS का पूरा नाम Basic Input/Output System (बेसिक इनपुट/आउटपुट सिस्टम) होता है। इसे System BIOS या PC BIOS भी कहा जाता है।
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BIOS के मुख्य कार्यों में शामिल हैं
- कंप्यूटर के सभी हार्डवेयर कंपोनेंट्स को जांचना और सक्रिय करना।
- कंप्यूटर के ऑपरेटिंग सिस्टम को लोड करना।
- कंप्यूटर के बूट सेक्टर से शुरू होने के लिए निर्देश देना।
- विभिन्न डिवाइसों के लिए ड्राइवर्स को लोड करना।
BIOS को सेटअप करने के लिए विभिन्न तरीके हैं, जैसे कि कंप्यूटर को शुरू करते समय विशेष कुंजी दबाना या BIOS सेटअप उपयोगकर्ता इंटरफेस का उपयोग करके। BIOS सेटअप में आप विभिन्न सेटिंग्स को समायोजित कर सकते हैं, जैसे कि बूट ऑर्डर, सिस्टम क्लॉक, और सुरक्षा विन्यास।
BIOS का क्या काम होता है?
BIOS (Basic Input/Output System) कंप्यूटर के मदरबोर्ड के साथ जुड़ा हुआ एक सॉफ्टवेयर है जो कंप्यूटर को चालू करते ही अपने आप शुरू हो जाता है। इसका मुख्य काम कंप्यूटर के हार्डवेयर कंपोनेंट्स को ऑपरेटिंग सिस्टम के साथ इंटरफेस करना होता है।
BIOS के प्रमुख कार्यों में शामिल हैं
- कंप्यूटर के सभी हार्डवेयर कंपोनेंट्स को जांचना और सक्रिय करना।
- कंप्यूटर के ऑपरेटिंग सिस्टम को लोड करना।
- कंप्यूटर के बूट प्रोसेस को शुरू करना।
- कंप्यूटर के ऑपरेटिंग सिस्टम और हार्डवेयर के बीच संचार स्थापित करना।
- कंप्यूटर के बूट डिवाइस को चुनना, जैसे कि हार्ड डिस्क या CD/DVD ड्राइव।
BIOS को सेटअप करने के लिए विशेष कुंजी का उपयोग किया जाता है, जिससे आप इसे कंफिगर कर सकते हैं और विभिन्न सेटिंग्स जैसे कि बूट ऑर्डर, सिस्टम क्लॉक, और सुरक्षा विन्यास को समायोजित कर सकते हैं। BIOS के साथ आए जाने वाले सेटअप यूटिलिटी के जरिए आप इसे अपडेट भी कर सकते हैं जब नए फीचर्स या सुरक्षा अपडेट्स उपलब्ध होते हैं।
BIOS के बाद आए जाने वाले UEFI (Unified Extensible Firmware Interface) नामक सॉफ्टवेयर ने इसकी जगह ले ली है, जो एक उन्नत और विस्तृत फर्मवेयर है जो बेहतर सुरक्षा, बूट समय, और विन्यास के विकल्प प्रदान करता है। UEFI आमतौर पर बूट लोडर के रूप में काम करता है और बाद में ऑपरेटिंग सिस्टम को लोड करने के लिए उसे बूट मैनेजर के रूप में उपयोग किया जाता है।
BIOS कैसे काम करता है?
BIOS (Basic Input/Output System) कंप्यूटर के मदरबोर्ड के साथ जुड़ा हुआ एक सॉफ्टवेयर है जो कंप्यूटर को चालू करते ही अपने आप शुरू हो जाता है। यह कंप्यूटर के हार्डवेयर कंपोनेंट्स को ऑपरेटिंग सिस्टम के साथ इंटरफेस करने का कार्य करता है। BIOS का पूरा नाम Basic Input/Output System (बेसिक इनपुट/आउटपुट सिस्टम) होता है। इसे System BIOS या PC BIOS भी कहा जाता है।
BIOS के मुख्य कार्यों में शामिल हैं:
- कंप्यूटर के सभी हार्डवेयर कंपोनेंट्स को जांचना और सक्रिय करना।
- कंप्यूटर के ऑपरेटिंग सिस्टम को लोड करना।
- कंप्यूटर के बूट सेक्टर से शुरू होने के लिए निर्देश देना।
- विभिन्न डिवाइसों के लिए ड्राइवर्स को लोड करना।
BIOS को सेटअप करने के लिए विभिन्न तरीके हैं, जैसे कि कंप्यूटर को शुरू करते समय विशेष कुंजी दबाना या BIOS सेटअप उपयोगकर्ता इंटरफेस का उपयोग करके। BIOS सेटअप में आप विभिन्न सेटिंग्स को समायोजित कर सकते हैं, जैसे कि बूट ऑर्डर, सिस्टम क्लॉक, और सुरक्षा विन्यास।
BIOS के बाद UEFI (Unified Extensible Firmware Interface) आया है, जो एक नवीनतम और उन्नत संस्करण है। UEFI में बूट प्रक्रिया और सेटअप इंटरफेस में सुधार किए गए हैं, जो इसे बेहतर सुरक्षित, तेज़, और उपयोगकर्ता अनुकूल बनाता है। UEFI बूट प्रक्रिया में ग्राफिकल इंटरफेस, माउस समर्थन, और नेटवर्क बूटिंग जैसे नए सुविधाएं भी प्रदान करता है।
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